अमरावती : कोरोना वायरस पर प्रतिबंध के लिये उपयोगी एन-95 मास्क शहर में कुछ ही मात्रा में उपलब्ध है, लेकिन सैनिटायज की किल्लत उत्पन्न हो रही है. संसर्गजन्य रोग होने से कोरोना वायरस का प्रादुर्भाव रोकने के लिये शहर समेत जिले में मास्क और सैनिटायजर की मांग बड़े पैमाने पर बढ़ती जा रही है. मांग की तुलना में मास्क और सैनिटायजर उपलब्ध नहीं हो रहा है. 2 और 3 प्लाय के मास्क 12 से 15 रुपये के भाव से शहर में उपलब्ध है. अमरावती जिले में 2,000 थोक और रिटेल मेडिकल व्यवसायी है. जिसमें सर्जिकल साहित्य के 20 थोक व्यापारी है. मास्क और सैनिटायजर की डिमांड की तुलना में आपूर्ति करने में दिक्कत निर्माण हो रही है. मांग दस गुना बढ़ने से व्यापारियों के सामने प्रश्न निर्माण हो रहा है.
मास्क और सैनिटायजर उत्पादन करने वाली कई कंपनियां शहर में आपूर्ति करती है. अमरावती में भी मास्क उत्पादन के तीन कारखाने है, लेकिन मास्क की डिमांड अचानक बढ़ जाने से ऐन वक्त पर उत्पादन पर प्रभाव पड़ा है. पहले मॉस्क और सैनिटायजर की मांग हॉस्पिटल के माध्यम से की जाती थी. अब अधिकांश मेडिकल व्यावसायिक और नागरिक भी मास्क की डिमांड कर रहा है. मास्क और सैनिटायजर उत्पादन श्रमिकों पर निर्भर है. जिससे उत्पादन करने वाली कंपनियों से भी मास्क और सैनिटायजर की आपूर्ति पहले की तरह की जाती है-सुरेश जैन, महानगर चेंबर अध्यक्ष
कोरोना से मास्क और सैनिटायजर की डिमांड बड़े पैमाने पर बढ़ी है, लेकिन सैनिटायजर की किल्लक निर्माण हो रही है. शहर में सर्जिकल इन्स्टूमेंट बिक्री के 20 व्यावसायी है. पहले केवल 500 मास्क की डिमांड रहती थी. जो अब 5,000 पर पहुंच गई है. शासन और ऑल इंडिया एसोशिएशन केमिस्ट एण्ड ड्रगीस्ट के दिशा-निर्देशानुसार हम जनस्वास्थ्य की दखल ले रहे है. मास्क और सैनिटायजर की जमाखोरी नहीं करने का आह्वान किया है. साथ ही कालाबाजारी रोकने को लेकर भी हम नजर रख रहे है-सौरभ मालाणी, अध्यक्ष केमिस्ट एण्ड ड्रगीस्ट एसो.