बिल्ड इंडिया इन्फ्रा अवॉर्ड्स 2025 में सूर्य प्रादेशिक जल आपूर्ति योजना और मेट्रो मार्ग 2A व 7 परियोजनाओं को किया गया सम्मानित
एमएमआरडीए के इन महत्त्वपूर्ण प्रोजेक्ट्स को इंफ्रास्ट्रक्चर क्षेत्र में उल्लेखनीय योगदान के लिए किया गया पुरस्कृत
मुंबई। मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस के दूरदर्शी नेतृत्व और उपमुख्यमंत्री एवं एमएमआरडीए के अध्यक्ष एकनाथ शिंदे की प्रभावी अध्यक्षता में मुंबई महानगर क्षेत्र विकास प्राधिकरण (एमएमआरडीए) इंफ्रास्ट्रक्चर विकास के क्षेत्र में नए मानक स्थापित कर रहा है। सतत, समावेशी और जनहितकारी विकास के प्रति अपनी प्रतिबद्धता दर्शाते हुए एमएमआरडीए ने नई दिल्ली में आयोजित बिल्ड इंडिया इन्फ्रा अवॉर्ड्स 2025 में दो प्रतिष्ठित राष्ट्रीय पुरस्कार प्राप्त किए हैं। यह पुरस्कार एमएमआरडीए के अध्यक्ष एवं उपमुख्यमंत्री श्री एकनाथ शिंदे को प्राधिकरण की 159वीं बैठक में महानगर आयुक्त डॉ. संजय मुखर्जी (आईएएस) के हस्ते, नगर विकास राज्य मंत्री सौ. माधुरी मिसाळ की उपस्थिति में प्रदान किए गए।
सूर्य क्षेत्रीय जल आपूर्ति योजना को *जल क्षेत्र में इम्पॅक्ट अवार्ड* से सम्मानित किया गया, जबकि मुंबई मेट्रो मार्ग 2ए और 7 को *शहरी परिवहन क्षेत्र में इंपॅक्ट अवार्ड* प्रदान किया गया। यह सम्मान मुंबई की शहरी संरचना को सशक्त बनाने और करोड़ों लोगों के जीवन की गुणवत्ता बेहतर करने में उनके परिवर्तनकारी योगदान के लिए दिया गया।
यह पुरस्कार समारोह बिल्ड इंडिया फाउंडेशन द्वारा आयोजित किया गया था, जिसे सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय तथा नागरिक उड्डयन मंत्रालय का सहयोग प्राप्त था। कार्यक्रम की गरिमा माननीय नागरिक उड्डयन मंत्री श्री किंजरापु राम मोहन नायडू की उपस्थिति से बढ़ी। पुरस्कार भारत सरकार के जी-20 शेरपा और नीति आयोग के पूर्व सीईओ श्री अमिताभ कांत द्वारा उद्योग जगत के प्रमुख प्रतिनिधियों, नीति निर्धारकों और इंफ्रास्ट्रक्चर विशेषज्ञों की प्रतिष्ठित उपस्थिति में प्रदान किए गए।
*सूर्य क्षेत्रीय जल आपूर्ति परियोजना – भविष्य के लिए जल सुरक्षा सुनिश्चित करना*
सूर्य क्षेत्रीय जल आपूर्ति योजना, जो मुंबई महानगर क्षेत्र के पश्चिमी उपनगरों के लिए एक अहम जीवनरेखा है, को जनस्वास्थ्य, पर्यावरणीय स्थिरता और आर्थिक विकास पर उसके दूरगामी प्रभाव के लिए मान्यता दी गई है। यह परियोजना प्रतिदिन 403 मिलियन लीटर (MLD) स्वच्छ और पीने योग्य जल लगभग 30 लाख नागरिकों को उपलब्ध कराने के उद्देश्य से तैयार की गई है। यह योजना इस क्षेत्र में लंबे समय से चली आ रही जल संकट की समस्या का समाधान करने की दिशा में एक ऐतिहासिक कदम है।
परियोजना की प्रमुख विशेषताएँ इस प्रकार हैं:
• सुर्यानगर में एक अत्याधुनिक जल शुद्धिकरण संयंत्र (डब्ल्यूटीपी) की स्थापना, जो विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) और IS 10500के कड़े मानकों पर खरा उतरने वाला जल उपलब्ध कराएगा। इससे जल जनित रोगों की आशंका में उल्लेखनीय कमी आएगी।
• गुरुत्वाकर्षण आधारित प्रवाह प्रणाली का उपयोग, जिससे ऊर्जा की खपत में कमी आती है और संचालन की कार्यक्षमता बेहतर होती है।
• उन्नत रिएक्टर क्लैरिफायर तकनीक को अपनाया गया है, जो सीमित स्थान में भी प्रभावी ढंग से उपयोग की सुविधा प्रदान करती है।
• पारिस्थितिक रूप से संवेदनशील तुंगारेश्वर वन्यजीव अभयारण्य के नीचे 4.6 किलोमीटर लंबी सुरंग का निर्माण, जिसे स्थानीय जैवविविधता और वन्य जीवों के आवास की सुरक्षा को ध्यान में रखकर सावधानीपूर्वक योजनाबद्ध किया गया।
• वसई क्रीक और कामन क्रीक के नीचे सुरंग की दिशा इस तरह से तय की गई कि मैंग्रोव और आसपास के पारिस्थितिक तंत्र को कोई क्षति न पहुँचे, और कार्य पूरी पर्यावरणीय संवेदनशीलता के साथ संपन्न हो।
यह परियोजना किसी भी प्रकार के विस्थापन या पुनर्वास की आवश्यकता से मुक्त है, क्योंकि इसका क्रियान्वयन मुख्यतः सरकारी भूमि और राष्ट्रीय राजमार्गों के निर्धारित मार्ग (राइट ऑफ वे) के अनुरूप किया गया है। इससे पूंजीगत व्यय में कमी आती है और परियोजना के कार्यान्वयन की गति भी तेज़ होती है।
जल शुद्धिकरण संयंत्र (डब्ल्यूटीपी) में एक समर्पित जल गुणवत्ता प्रयोगशाला की स्थापना की गई है, जो सतत निगरानी सुनिश्चित करती है और लाखों लोगों के स्वास्थ्य व विश्वास की सुरक्षा करती है।
निजी जल टैंकरों पर निर्भरता समाप्त कर और लंबे समय से चली आ रही जल संकट की समस्या का समाधान कर, सूर्य जल आपूर्ति परियोजना न केवल जनस्वास्थ्य और सामाजिक समानता को बेहतर बनाती है, बल्कि आवासीय और व्यावसायिक विकास के लिए अनुकूल वातावरण भी तैयार करती है — जिससे यह क्षेत्र भविष्य में निवेश के लिए और अधिक आकर्षक बनता है।
*मुंबई मेट्रो लाइन 2A और 7 : मुंबई में शहरी परिवहन को नई दिशा*
शहरी परिवहन श्रेणी में, एमएमआरडीए की मुंबई मेट्रो लाइन 2A और 7को प्रभाव पुरस्कार से सम्मानित किया गया। इन दोनों लाइनों ने देश के सबसे व्यस्त महानगरीय मार्गों में से एक पर कनेक्टिविटी को उल्लेखनीय रूप से बेहतर बनाया है, भीड़भाड़ में कमी लाई है और यात्रियों के सफर के अनुभव को पहले से कहीं अधिक सुगम और सुविधाजनक बनाया है।
कुल मिलाकर 35 किलोमीटर से अधिक लंबे ये दोनों कॉरिडोर पूरी तरह एलिवेटेड हैं और इनमें कुल 30 मेट्रो स्टेशन शामिल हैं, जिन्हें रणनीतिक रूप से इस प्रकार तैयार किया गया है कि ये कई अन्य मेट्रो और रेल लाइनों से जुड़कर यात्रियों को सहज, बाधारहित और मल्टी-मोडल यात्रा का अनुभव दे सकें।
मेट्रो लाइन 2A (दहिसर ईस्ट – डी. एन. नगर) :
18.6 किलोमीटर लंबे इस कॉरिडोर में 17 स्टेशन हैं और यह न्यू लिंक रोड के साथ-साथ चलता है, जो बोरिवली, कांदिवली, मलाड, गोरेगांव और अंधेरी जैसे प्रमुख इलाकों को आपस में जोड़ता है।
डी. एन. नगर पर मेट्रो लाइन 1 और शास्त्री नगर पर मेट्रो लाइन 6 से महत्वपूर्ण इंटरचेंज कनेक्टिविटी प्रदान करता है, साथ ही दहिसर ईस्ट पर मेट्रो लाइन 7 से भी यह जुड़ता है।
मेट्रो लाइन 7 (अंधेरी ईस्ट – दहिसर ईस्ट) :
16.5 किलोमीटर लंबे इस मार्ग में 13 स्टेशन हैं और यह वेस्टर्न एक्सप्रेस हाईवे के साथ चलता है, जो अंधेरी ईस्ट, जोगेश्वरी, गोरेगांव और दहिसर जैसे क्षेत्रों को आपस में जोड़ता है।
यह मार्ग गुंडवली पर मेट्रो लाइन 1 और जोगेश्वरी ईस्ट पर मेट्रो लाइन 6 से सहज इंटरचेंज की सुविधा भी प्रदान करता है।
मुख्य उपलब्धियाँ:
मेट्रो लाइन 2A और 7 मुंबई की पहली शुरू की गई मेट्रो सेवाएँ हैं, जिन्होंने अब तक 16.9 करोड़ से अधिक यात्रियों को यात्रा की सुविधा दी है।
एक दिन में अब तक की सबसे अधिक दर्ज की गई सवारियों की संख्या: 2,92,575 यात्री।
यह प्रणाली कम्युनिकेशन-बेस्ड ट्रेन कंट्रोल (सीबीटीसी) सिग्नलिंग तकनीक का उपयोग करती है, इसमें 'मेक इन इंडिया' रोलिंग स्टॉक शामिल है, और इसे आईजीबीसी ग्रीन बिल्डिंग सर्टिफिकेशन के तहत प्लेटिनम रेटिंग प्राप्त हुई है।
दोनों लाइनों के लिए साझा चारकोप डिपो का निर्माण 16.4 हेक्टेयर क्षेत्र में किया गया है, जो संचालन को कुशलता से संभाल रहा है।
वर्ष 2031 तक, इन दोनों मेट्रो लाइनों से प्रतिदिन लगभग 12.7 लाख यात्रियों को लाभ मिलने की अपेक्षा है, जिससे सड़क यातायात का दबाव और पहले से ही भीड़ से जूझ रही उपनगरीय रेलवे पर निर्भरता में उल्लेखनीय कमी आएगी।
माननीय मुख्यमंत्री श्री देवेंद्र फडणवीस ने प्रसन्नता व्यक्त करते हुए कहा:
*ये प्रतिष्ठित राष्ट्रीय पुरस्कार महाराष्ट्र की दूरदर्शी इंफ्रास्ट्रक्चर विकास में अग्रणी भूमिका को और भी मजबूत करते हैं। सुरक्षित पेयजल जैसी बुनियादी जरूरतों को पूरा करने से लेकर विश्वस्तरीय सार्वजनिक परिवहन सुविधाएँ उपलब्ध कराने तक, इन उपलब्धियों से हमारी समावेशी, सतत और तकनीकी रूप से उन्नत प्रगति पर केंद्रित दृष्टि स्पष्ट होती है। मैं एमएमआरडीए और इन परिवर्तनकारी परियोजनाओं से जुड़े सभी हितधारकों को हार्दिक बधाई देता हूँ।*
माननीय उपमुख्यमंत्री श्री एकनाथ शिंदे ने अपने संबोधन में कहा:
*ये सम्मान सरकार की आम नागरिकों के जीवन को बेहतर बनाने की प्रतिबद्धता को दर्शाते हैं। सूर्य जल आपूर्ति योजना और मुंबई मेट्रो लाइन 2A व 7 केवल इंफ्रास्ट्रक्चर प्रोजेक्ट नहीं हैं—ये करोड़ों लोगों के लिए जीवनरेखा हैं। ये हमारे संतुलित क्षेत्रीय विकास, पर्यावरण संरक्षण और भविष्य की सोच के साथ की गई योजनाओं के प्रति समर्पण को दर्शाते हैं। एमएमआरडीए ने हम सभी को गौरवान्वित किया है।*
डॉ. संजय मुखर्जी (आईएएस), महानगर आयुक्त ने आभार व्यक्त करते हुए कहा:
*यह पूरी एमएमआरडीए टीम के लिए अत्यंत गर्व का क्षण है। ये पुरस्कार केवल इंफ्रास्ट्रक्चर को नहीं, बल्कि इन पहलों से बदली गई ज़िंदगियों को भी मान्यता देते हैं। हम स्मार्ट, समावेशी और सतत इंफ्रास्ट्रक्चर के निर्माण के लिए प्रतिबद्ध हैं, जो जीवन की गुणवत्ता को बेहतर बनाते हुए हमारी पारिस्थितिक विरासत की भी रक्षा करें|*
*बिल्ड इंडिया इन्फ्रा अवॉर्ड्स के बारे में*
बिल्ड इंडिया इन्फ्रा अवॉर्ड्स देश के इंफ्रास्ट्रक्चर क्षेत्र में दिए जाने वाले सबसे प्रतिष्ठित सम्मानों में से एक हैं, जो उत्कृष्टता, नवाचार और सतत विकास को सम्मानित करते हैं। परियोजनाओं का चयन एक कठोर मूल्यांकन प्रक्रिया के माध्यम से किया जाता है, जिसका नेतृत्व प्रतिष्ठित विशेषज्ञों की एक जूरी करती है और इसकी अध्यक्षता श्री अमिताभ कांत करते हैं। यह अवॉर्ड्स उन परियोजनाओं को विशेष रूप से मान्यता देते हैं जो सामाजिक समानता, जनस्वास्थ्य, पर्यावरण संरक्षण और आर्थिक विकास जैसे क्षेत्रों में प्रभावी परिणाम प्रदान करते हैं।